आरक्षक हुआ सेवा से बर्खास्त, इस वजह से लिया गया फैसला, कारनामा सुन आप भी रह जाएंगे दंग

रायपुर। अपराधिक गतिविधियों में शामिल रहने वाले आरक्षक को एसपी अवधेश सिंह ने सेवा से बर्खास्त कर दिया गया है। बीते दिनों हिर्री क्षेत्रान्तर्गत रतनपुर बाईपास स्थित ग्राम बेलमुण्डी के पास किसी बड़ी घटना को अंजाम देने वाले बदमाशों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था। जिनमें 10 अपराधी शामिल थे। जिन्हें पुलिस टीम ने घेराबंदी कर पकड़ा। इनमें उत्तर प्रदेश के दो खूंखार अपराधी भी शामिल थे। जिसके खिलाफ गैगस्टर एक्ट सहित अनेक गंभीर प्रकार के अपराध दर्ज हैं। इमरान खान भी उत्तरप्रदेश का ही निवासी है। अपराधियों के द्वारा हथियार से लैस होकर रेड करने गई पुलिस टीम को चुनौती देते हुए गोली मारने की धमकी बदमाशों ने दी थी। गिरफ्तार आरोपियों के मोबाइल से आरक्षक बबलू बंजारे, थाना सिरगिट्टी से लगातार संपर्क की जानकारी मिली। इस प्रकार प्रथम दृष्ट्या आपराधिक गतिविधियों में संलिप्तता उजागर होने पर उसे 12 मई को निलंबित किया गया था।
आरक्षक की आपराधिक संलिप्तता की जांच पर आरक्षक बबलू बंजारे व्हाट्सएप चैट के माध्यम से लगातार इनके संपर्क में रहता था। करीबी मित्र की तरह व्हाट्सएप चैट कर रहा था। दुर्दान्त अपराधियों से घनिष्ठता, फोन एवं व्हाट्सएप के माध्यम से विभाग की गोपनीय जानकारी साझा करना, बारकोड भेजना एवं पेमेंट का स्क्रीन शॉट भेजना आदि से आरक्षक की अवैध एवं खतरनाक आपराधिक गतिविधियों में संलिप्तता उजागर हुई। इससे पहले भी थाना सकरी के छत्तीसगढ़ कृषक पशु परिरक्षण अधिनियम एवं पशुओं के प्रति क्रूरता निवारण अधिनियम में भी आरक्षक का नाम शामिल था। एक अन्य प्रकरण में आरक्षक महिला थाना बिलासपुर के द्वारा बलात्कार के प्रकरण में भी में अभियोजित किया गया था। आरक्षक के विरूद्ध कदाचरण के लिये विभागीय जांच की कार्यवाही में भी आरक्षक के द्वारा फर्जी चिकित्सकीय दस्तावेज प्रस्तुत कर आरोपों को झुठलाने का कुत्सित प्रयास किया गया था। इस प्रकार आरक्षक पुलिस की नौकरी की आड़ में खतरनाक अपराधियों से सतत् संपर्क में रहकर उन्हें लगातार मदद करता रहा। आरक्षक के आपराधिक हौसले इतने बुलंद हैं कि पूर्व से ही उसकी आपराधिक संलिप्तता उजागर होने के बाद भी लगातार पुनरावृत्ति कर रहा था।