CGPSC परीक्षा में अनियमितता मामले में CBI ने रेड मारी है। CBI के अधिकारी CGPSC के पूर्व अध्यक्ष टामन सोनवानी और पूर्व सचिव जीवन किशोर ध्रुव के घर पहुंचे हैं। 6 से ज्यादा अफसर कई दस्तावेजों की जांच कर रहे हैं।
सूचना लीक ना हो, इसके लिए अधिकारी CG पासिंग गाड़ी में पहुंचे हैं। 2021 की परीक्षा में अनियमितता होने की शिकायत के बाद बीजेपी सरकार ने इसकी जांच का जिम्मा CBI को दिया है। बीते एक महीने से केस में गोपनीय जांच कर रहे अफसरों ने सोमवार 15 जुलाई को जांच करने की आधिकारिक पुष्टि की है।
सीबीआई की एक टीम छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग के कार्यालय भी पहुंची और वहां भी जांच कर रही है। सीबीआई के मीडिया प्रभारी ने दैनिक भास्कर से चर्चा के दौरान कहा, कि राज्य सरकार के अनुरोध पर हमारी टीम ने 2020-2022 की परीक्षा की जांच कर रही है।
पद का दुरुपयोग और रिश्तेदारों को भर्ती कराने का आरोप
2020-2022 भर्ती के दौरान डिप्टी कलेक्टर, डिप्टी एसपी और वरिष्ठ पदों के चयन में पक्षपात के आरोप लगे हैं। CGPSC समेत बाकी आरोपियों के खिलाफ ईओडब्ल्यू/एसीबी पुलिस स्टेशन, रायपुर में अपराध संख्या 05/2024 और बालोद जिले में स्थित अर्जुन्दा पुलिस स्टेशन में अपराध संख्या 28/2024 के तहत केस दर्ज है।
2020-2022 में छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग में पदस्थ अफसरों पर आरोप है, कि उन्होंने अपने बेटे, बेटी, रिश्तेदारों, अपने परिचितों को भर्ती करके अपने आधिकारिक पद का दुरुपयोग किया। खुद के अलावा सरकारी अफसरों, कारोबारियों और राजनेताओं के बच्चों का भी सिलेक्शन नियमों के खिलाफ हुआ है। इन सब मामलों में साक्ष्य जुटाने के लिए सीबीआई के अफसर सोमवार को रायपुर और भिलाई में अलग-अलग जांच कर रहे है।