‘रात रानी’ के फूल रात को ही क्यों खिलते हैं ?क्या है कारण..
रात की रानी फूल रात में ही खिलता है. खिलकर अपने धरती पर गिरता है. दिन में ये फूल बंद हो जाता है. ऐसी क्या वजह है कि ये भीनी भीनी खुशबु चारों ओर बिखेरने वाला फूल रात में ही खिलता है. फूल आधी रात चुपके से फूलता है.और फूलते ही झरने लगता है.
जिन पौधों के फूल रात में खिलते हैं, उन फूलों में बहुत ही मनमोहक सुगंध होती है. इस सुगंध के कारण पतंगे (Moth) जैसे रात में एक्टिव जीव-जंतु इन पौधों की ओर आकर्षित हो जाते हैं. जब ये कीड़े फूल पर आकर बैठते हैं तो इनके पंखों से परागकण चिपक जाते हैं. जब कोई कीड़ा एक पौधे से दूसरे पौधे पर जाता है तो ये परागकण दूसरे फूल तक पहुंच जाते हैं. इस प्रकार परागसेचन (Pollination) की क्रिया संपन्न हो जाती है.
रात की रानी के फूल रात में खिलने का कारण उसकी जैविक संरचना और पर्यावरणीय कारक हैं. ये फूल दिन के समय बंद रहते हैं. जैसे ही रात होती है, तापमान में गिरावट और आर्द्रता में वृद्धि के कारण ये खिलने लगते हैं. यह प्रक्रिया पौधे की प्राकृतिक आदतों का हिस्सा है, जो इसे रात के समय पर परागणकों, जैसे कि मच्छरों और अन्य कीटों, को आकर्षित करने में मदद करती है.
रात में खिलने वाले फूलों के विषय में एक तथ्य और भी है. इन फूलों का रंग बहुत चमकीला नहीं होता क्योंकि यह रंग रात्रि के अंधेरे में दिखाई नहीं देते. इसलिए कीड़ों को आकर्षित करने में इनके रंगों का कोई अधिक महत्व नहीं होता. रात्रि में खिलने वाले अधिकतर फूलों का रंग सफेद ही होता है क्योंकि सफेद रंग रात्रि के अंधरे में भी साफ साफ नजर आता है या चमकता है तो कीड़ों को आकर्षित करता है.